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श्रीमद्भगवद्गीता में 18 अध्याय और 700 श्लोक हैं।

महाभारत युद्ध होने जा रहा था और अर्जुन ने युद्ध में अपने रिश्तेदारों को युद्ध में सामने देख कर युद्ध करने से इंकार कर दिया था उससे  ठीक पहले भगवान श्रीकृष्ण ने अर्जुन को जो उपदेश दिया वह श्रीमद्भगवद्गीता के नाम से जाना जाता है । श्रीमद्भगवद्गीता में 18 अध्याय और 700 श्लोक हैं। आज से (सन 2022) लगभग 5560 वर्ष पहले गीता जी का ज्ञान बोला गया था।  भारतीय परम्परा के अनुसार गीता का स्थान वही है जो उपनिषद् और धर्मसूत्रों का है। 

ASK MINTAR वेबसाइट का उद्देश्य

आस्क मिंतर (ASK MINTAR ) वेबसाइट और यूट्यूब चैनल के द्वारा  लोगो तक सही जानकारी पहुंचाने की एक कोशिश है। जिसमे विश्व के बारे में जानकारी , भारत के बारे में जानकारी , राज्यों के बार में जानकारी , धर्म ग्रंथो जैसे रामायण , महाभारत ,भगवद्गीता , शिव महापुराण , सिनेमा , शिक्षा ,कृषि ,खेल , इतिहास , व्यापर , स्वास्थ्य , कम्प्यूटर , हिन्दू धर्म  और भी बहुत कुछ, एक कोशिश है हमारी , आशा करते है की आप दुआ करेंगे की सही जानकारी लोगो तक पहुंचे और हम अपनी इस कोशिश में सफल हो।  टीम- (आस्क मिंतर)  TEAM - (ASK MINTAR )  

ब्रह्म विवाह क्या होता है।

जिनकी शादी हो चुकी है वो भी एक बार फिर सुन ले ,जिनकी होनी है वो भी सुन ले, की ये होना है।

शादी जन्म जन्म का साथ होता है।  पति पत्नी अग्नि को साक्षी मानकर एक दूसरे को साथ वचन देते है सही कहा जाये तो इन वचनो का दाम्पत्य जीवन में बहुत महत्त्व होता है।  अगर इसे सही तरीके से जीवन में उतर लिया जाये तो कई परेशानी से बच सकते है।  हमने इन्ही व सात  वचनों पर एक वीडियो बनाया है जो आपको पसंद आएगा  विवाह के समय पति-पत्नी अग्नि को साक्षी मानकर एक-दूसरे को सात वचन देते हैं जिनका दांपत्य जीवन में काफी महत्व होता है। आज भी यदि इनके महत्व को समझ लिया जाता है तो वैवाहिक जीवन में आने वाली कई समस्याओं से निजात पाई जा सकती है।

शादी के मण्डप से जुडी अनोखी कथा , #unique_story

आखिर क्यों की जाती है सबसे पहले गणेश जी की पूजा !

गणेश जी की पूजा सबसे पहले क्यों की जाती है, इसके पीछे कई धार्मिक और सांस्कृतिक कारण हैं: विघ्नहर्ता के रूप में पूजा: Worship as the destroyer of obstacles  गणेश जी को "विघ्नहर्ता" (विघ्नों को नष्ट करने वाला) कहा जाता है। किसी भी शुभ कार्य या अनुष्ठान की शुरुआत से पहले गणेश जी की पूजा इसलिए की जाती है ताकि कार्य में आने वाली सभी बाधाएं और विघ्न दूर हो सकें और कार्य बिना किसी रुकावट के सम्पन्न हो सके। नवचंडी और समृद्धि का प्रतीक: Symbol of Navchandi and Prosperity गणेश जी का रूप और उनके गुण समृद्धि, बुद्धि, सुख-शांति और सौभाग्य के प्रतीक माने जाते हैं। उनकी पूजा से व्यक्ति को मानसिक शांति, बौद्धिक वृद्धि, और सुख-समृद्धि मिलती है। धार्मिक परंपरा: Religious tradition हिंदू धर्म में यह प्रथा रही है कि किसी भी बड़े कार्य, जैसे घर निर्माण, व्यापार की शुरुआत, या किसी नए काम की शुरुआत से पहले गणेश जी की पूजा करना आवश्यक माना जाता है। यह परंपरा संतुलन और शांति की ओर निर्देशित करती है। सभी देवताओं से पहले गणेश की पूजा: Worshiping Ganesha before all gods भगवान गणेश की पूजा सबसे पहले क...